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सीबीआई ने पुणे में बिल्डर अविनाश भोसले के परिसरों की तलाशी के दौरान जब्त किया एक हेलीकॉप्टर

सीबीआई ने पुणे में बिल्डर अविनाश भोसले के परिसरों की तलाशी के दौरान जब्त किया एक हेलीकॉप्टर
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पुणे: डीएचएफएल, और उसके प्रमोटरों (वधावन भाइयों) और अन्य लोगों द्वारा यूनियन बैंक ऑफ इंडिया के नेतृत्व वाले 17 बैंकों के कंसोर्टियम के 34000 करोड़ रुपये से अधिक की धोखाधड़ी के संबंध में सीबीआई मामले की जांच के दौरान, यह पता चला है कि मेसर्स आरकेडब्ल्यू डेवलपर्स प्रा. लिमिटेड (वधावन परिवार के स्वामित्व वाली कंपनी) का कथित तौर पर मेसर्स वरवा एविएशन में (व्यक्तियों समझौता है) जिसमें सीबीआई ने जांच में पाया है कि, जो एक AW109SP ग्रैंड न्यू हेलीकॉप्टर (अगस्ता वेस्टलैंड हेलीकॉप्टर) का मालिक है, जिसे कथित तौर पर 2011 में खरीदा गया था। मेसर्स आरकेडब्ल्यू डेवलपर्स प्रा. लिमिटेड 2017 में व्यक्तियों के संघ में शामिल हुआ और उक्त हेलीकॉप्टर के लागत मूल्य और रखरखाव में योगदान दिया।

मेसर्स एबीआईएल इंफ्राप्रोजेक्ट्स लिमिटेड, के स्वामित्व वाली कंपनी में उक्त हेलीकाप्टर में अविनाश भोसले की कथित रूप से हिस्सेदारी है। चूंकि यह कथित रूप से माना गया था कि व्यक्तियों के संघ में हिस्सेदारी के भुगतान के लिए इस्तेमाल किया गया धन, विभिन्न बैंकों द्वारा स्वीकृत ऋण निधि से प्राप्त किया गया था। इसलिए, आज यानी 30.07.2022 को स्पष्ट होने के बाद, सीबीआई ने हेलीकॉप्टर को जब्त कर लिया है जो कि एक हैंगर में अविनाश भोसले द्वारा बनेर रोड, पुणे ढककर गुप्त तरीके से रखा गया था। अविनाश भोसले और दीवान हाउसिंग फाइनेंस कॉरपोरेशन लिमिटेड (डीएचएफएल) के पूर्व प्रमोटर धीरज राजेश वधावन व कपिल राजेश वधावन ने उसे कई बार अपने निजी कामों के लिए इस्तेमाल भी किया है। आगे की जांच जारी है सीबीआई की टीम कर रही है करोड़ों की घड़ी, पेंटिंग मूर्ति के बाद इस निजी हेलीकॉप्टर का मिलना जांच का अहम हिस्सा है।











Updated : 30 July 2022 9:47 PM IST
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