किसानों का आंदोलन सिंघू सीमा खाली करो: स्थानीय लोगों की मांग पर सुप्रीम कोर्ट ने कहा हाईकोर्ट जाऐ.
सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली के सिंघू बॉर्डर पर एक साल से अधिक समय से चल रहे ऐतिहासिक किसान आंदोलन को जड़ से उखाड़ने के लिए सोनीपत निवासी की ओर से दायर याचिका को आज खारिज कर दिया.
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सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली के सिंघू बॉर्डर पर एक साल से अधिक समय से चल रहे ऐतिहासिक किसान आंदोलन को जड़ से उखाड़ने के लिए सोनीपत निवासी की ओर से दायर याचिका को आज खारिज कर दिया. संशोधित कृषि कानूनों के खिलाफ किसान दिल्ली में सिंघू सीमा पर एक साल से अधिक समय से विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं. हरियाणा से दिल्ली जाने वाले सोनीपत इलाके के स्थानीय लोगों नें प्रदर्शनकारियों के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर कर प्रदर्शनकारियों का आंदोलन बंद करने की मांग की है.
क्या आपने सिर्फ प्रचार के लिए सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की है. ऐसा सवाल पेश करते हुए कोर्ट ने हाईकोर्ट में याचिका दायर करने का निर्देश दिया है. यदि आपके मौलिक अधिकारों का संकोच हो रहा है, तो सर्वोच्च न्यायालय जाने की सलाह दी जाती है. सुप्रीम कोर्ट ने टिप्पणी की है कि बुनियादी जरूरतों के लिए आपको सुप्रीम कोर्ट के बजाय हाई कोर्ट जाना चाहिए. हम हाईकोर्ट को सुनवाई का निर्देश भी नहीं देंगे. सर्वोच्च न्यायालय ने स्पष्ट किया कि यह मानवीय आवश्यकता का मामला है और उच्च न्यायालय इस संबंध में उचित निर्णय लेगा.
एक साल से अधिक समय से चल रहे किसान आंदोलन से आने-जाने में मुश्किल हो रही है. सोनीपत के निवासियों ने बुनियादी जरूरतों को भी पूरा नहीं करने का आरोप लगाते हुए सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है. अब जबकि सुप्रीम कोर्ट ने याचिका खारिज कर दी है, याचिकाकर्ताओं के पास हाईकोर्ट जाने के अलावा कोई चारा नहीं है. यह फैसला धनंजय चंद्रचूड़, विक्रम कोहली और विक्रम नाथ की पीठ ने लिया.