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शरद पवार की चारों खाने चीत कर देने वाली धोबी पछाड राजनीति!सभी विभागों और प्रकोष्ठों (सेल) को एक झटके में किया रद्द

राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी ने अचानक तत्काल प्रभाव से क्यों सभी विभागों और प्रकोष्ठों (सेल) को किया रद्द, आखिर क्यों पार्टी करेगी जल्द खुलासा

शरद पवार की चारों खाने चीत कर देने वाली धोबी पछाड राजनीति!सभी विभागों और प्रकोष्ठों (सेल) को एक झटके में किया रद्द
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मुंबई: महाराष्ट्र की राजनीति में कब क्या हो जाए कहा नहीं जा सकता, महाराष्ट्र में हाल में हुए राज्यसभा और विधानसभा चुनावों के बाद से से सभी सभी बड़ी पार्टियां दुविधा में जिस तरह से शिवसेना में बगावत के शुर देखने को मिले उसके बाद से सभी सहमे हुए है। महाराष्ट्र में सबसे कद्दावर नेता एनसीपी सुप्रीमो शरद पवार के इस इस अचानक निर्णय से क्या तर्क लगाया जा यह राजनीतिक विशेषज्ञों की सोच से भी परे है। लेकिन जिस तरह की जानकारी सूज्ञों से मिल रही है इस इस तरह कार्यकारिणी को रद्द करना यानी पार्टी में विद्रोह की संभावना के मद्देनजर फैसला लिया जाता है। जो बहुत कम लोग इस तरह का जल्द फैसला कर पाने में सक्षम होते है इसलिए पवार को महाराष्ट्र के राजनीति का पितामह भी कहा जाता उनका अपने निर्णय के पीछे एक गहरा तर्क और सटीक अनुमान होता है।

पार्टी सुप्रीमो शरद पवार के इस फैसले को लेटर हेड के जरिए पार्टी के राज्यसभा सांसद प्रफुल्ल पटेल ने सार्वजनिक तौर पर राकांपा के सभी नेताओं को सूचित करते हुए विभागों और प्रकोष्ठों (सेल) को रद्द करने जानकारी दी है। इस तरह के निर्णय को महाराष्ट्र की सत्ता परिवर्तन होने के बाद पार्टी से कोई बगावत के सुर ना उठे इसके लिए किया गया है। जिस तरह से शिवसेना के लोगों ने राष्ट्रवादी पार्टी के नेताओं का नाम लिया है उससे जोडकर देखा जा रहा है। एनसीपी के कोटे से गृह मंत्री रहे अनिल देशमुख फिर कैबिनेट मंत्री नवाब मलिक को प्रवर्तन निदेशालय गिरफ्तार (ईडी) द्वारा गिरफ्तार किया गया। प्रफुल्ल पटेल को ईडी ने पहले समन देकर पूछताछ कर चुकी है। एकनाथ खडसे ईडी के रडार पर पहले से ही है और कई लोगों के नामों की चर्चा भी है। कही ईडी और कोई और प्रलोभनों के चलते राकांपा के साथ कोई अनहोनी के पहले पार्टी सुप्रीमो शरद पवार को भनक लग गई हो जिसको लेकर विभागों और प्रकोष्ठों तत्काल प्रभाव से रद्द किया गया है।


पार्टी ने आज लेटर के जरिए इसकी औपचारिक घोषणा की है लेकिन पार्टी के किसी प्रवक्ता और किसी नेता को भी इसके बारे में कुछ नहीं मालूम। हमने राकांपा के प्रदेश प्रवक्ता महेश तपासे से बात की तो उनका कहना था कि यह पार्टी के नेशनल लेवल का मामला है नेशनल लेवल पर यह तय करके किया गया है सेल और विभाग है वो दिल्ली के है महाराष्ट्र के नहीं प्रफुल्ल पटेल के ट्वीट को भी देखे और पार्टी के लेटर हेड को तो उसमें हमारे राष्ट्रीय अध्यक्ष शरद पवार साहब के अनुमोदन से राष्ट्रीय स्तर के सभी विभाग एवं प्रकोष्ठ @NCPspeaks राष्ट्रवादी महिला कांग्रेस को छोड़कर, राष्ट्रवादी युवा कांग्रेस और राष्ट्रवादी छात्र कांग्रेस को तत्काल प्रभाव से भंग कर दिया गया है इस बात का जिक्र है। महेश तपासे का कहना है कि पार्टी का इंटरनल मामला है पार्टी सुप्रीमो का फैसला है इसकी पूरी तरह से जानकारी अभी हम तक नहीं आयी है। यह फैसला क्यों लिया गया पार्टी इसको लेकर जल्द अपनी भूमिका स्पष्ट कर देगी। लेकिन सांसद प्रफुल्ल पटेल ने एक बाद एक तीन ट्वीट करके असमंजस में डाल दिया पहले सभी विभागों और प्रकोष्ठों का जिक्र किया फिर दिल्ली का किया और बाद में एक लाइन लिखी बाकि राज्यों के लिए यह नहीं लागू होता।






Updated : 21 July 2022 11:25 AM GMT
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