आखिर कैसे मान गए अण्णा हजारे,अब नहीं करेंगे अनशन?
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रालेगण सिद्धि। वरिष्ठ समाजसेवी अन्ना हजारे ने 30 जनवरी से अनशन पर बैठने के अपने फैसले को वापस ले लिया है। केंद्रीय कृषि राज्य मंत्री कैलाश चौधरी और महाराष्ट्र के पूर्व सीएम देवेंद्र फडणवीस उन्हें मनाने के लिए उनके पैतृक गांव रालेगण सिद्धि पहुंचे थे। अन्ना और दोनों नेताओं के बीच तकरीबन 4 घंटे तक बातचीत हुई। पूर्व सीएम ने बताया कि केंद्र ने अन्ना की मांगों को गंभीरता से लिया है और इसके क्रियान्वयन के लिए 6 सदस्यों की एक टीम बनाई गई है।
अन्ना भी इस कमेटी का हिस्सा रहेंगे। अन्ना ने भी फडणवीस बातों पर सहमति जताते हुए अनशन पर नहीं बैठने की बात कही। अन्ना ने रालेगण सिद्धि के यादव बाबा मंदिर में आमरण अनशन पर बैठने का ऐलान किया था। अन्ना हजारे ने कहा-"किसानों के मुद्दों को मैं तीन साल से उठा रहा हूं। किसान लगातार आत्महत्या कर रहा है, इसके पीछे असली वजह यह है कि उसे उसकी लागत का भी पैसा नहीं मिलता।
मैं चाहता हूं की सरकार एमएसपी और स्वामीनाथन आयोग की सिफारिशों को जल्द से जल्द लागू करें। अब मुझे आश्वासन मिला है कि केंद्र लगातार इस मामले काम कर रहा है। एक कमेटी गठित की गई है। मुझे उम्मीद है कि इस समस्या का हल हो जाएगा। इसलिए मैं कल का आंदोलन स्थगित कर रहा हूं।"