.हम खाना नहीं, ज़हर खा रहे है !
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आज के समय में जो खाना हम खा रहे हैं, वह हमारे शरीर को पोषण देने के बजाय धीरे-धीरे बीमार कर रहा है। हर फल और सब्जी में केमिकल्स का इतना ज्यादा इस्तेमाल हो रहा है कि अब यह कहना गलत नहीं होगा कि हम खाना नहीं, जहर खा रहे हैं। इसी गंभीर विषय पर हमने डॉ. हरीश शेट्टी के साथ एक पॉडकास्ट किया, जिसे आप Max Maharashtra Hindi चैनल पर देख सकते हैं।
हर खाने में है जहरीले केमिकल्स का इस्तेमाल
आजकल बाजार में मिलने वाले फलों और सब्जियों में अत्यधिक मात्रा में केमिकल्स और पेस्टिसाइड्स का इस्तेमाल हो रहा है। किसान अधिक उत्पादन और फसलों को जल्दी पकाने के लिए रसायनों का उपयोग कर रहे हैं।
फलों को जल्दी पकाने के लिए कैल्शियम कार्बाइड का इस्तेमाल किया जाता है, जो सेहत के लिए बेहद खतरनाक है।
सब्जियों को ताजा और चमकदार दिखाने के लिए विषैले रंगों और मोम का उपयोग किया जाता है।
फसलों को कीड़ों से बचाने के लिए पेस्टिसाइड्स का अत्यधिक उपयोग होता है, जो सीधे हमारे शरीर में जहर घोलते हैं।
डॉ. हरीश शेट्टी ने क्या कहा?
डॉ. हरीश शेट्टी, जो एक जाने-माने स्वास्थ्य विशेषज्ञ हैं, ने हमारे पॉडकास्ट में इस विषय पर गहराई से चर्चा की। उन्होंने बताया कि इन केमिकल्स का हमारे शरीर पर कितना बुरा असर हो रहा है:
गंभीर बीमारियों का खतरा: इन रसायनों की वजह से कैंसर, किडनी फेलियर, लिवर डैमेज और हार्मोनल डिसऑर्डर जैसी बीमारियां तेजी से बढ़ रही हैं।
बच्चों पर असर: खासतौर पर बच्चे, जिनका इम्यून सिस्टम कमजोर होता है, इन जहरीले पदार्थों के कारण जल्दी बीमार पड़ रहे हैं।
दीर्घकालिक प्रभाव: इन केमिकल्स का असर तुरंत नहीं दिखता, लेकिन लंबे समय में यह शरीर को अंदर से कमजोर बना देते हैं।
जागरूकता की है जरूरत
डॉ. शेट्टी ने जोर दिया कि हमें इस विषय पर जागरूक होने की जरूरत है। उन्होंने कुछ सुझाव दिए, जिनका पालन कर हम अपने खाने को अधिक सुरक्षित बना सकते हैं:
ऑर्गेनिक फूड: जितना संभव हो, ऑर्गेनिक फल और सब्जियों का सेवन करें।
घर पर सफाई: फलों और सब्जियों को अच्छी तरह से धोने के लिए नमक या सिरके के पानी का इस्तेमाल करें।
बाजार से सतर्कता: चमकदार और असामान्य दिखने वाले फलों और सब्जियों को खरीदने से बचें।
स्थानीय उत्पादकों से खरीदारी: लोकल किसानों से सीधे खरीदारी करना बेहतर विकल्प हो सकता है।
हमारे खाने का भविष्य क्या है?
पॉडकास्ट में इस सवाल पर भी चर्चा हुई कि अगर यह समस्या जारी रही तो हमारे आने वाली पीढ़ियों के लिए क्या खतरे होंगे। अगर हम अभी सतर्क नहीं हुए, तो हमारे शरीर पर इन केमिकल्स का प्रभाव और ज्यादा गंभीर हो सकता है।
निष्कर्ष
यह बेहद जरूरी है कि हम यह समझें कि आज हम जो खाना खा रहे हैं, वह हमारे शरीर के लिए सुरक्षित नहीं है। हमें न केवल अपने खाने के स्रोत को बदलने की जरूरत है, बल्कि समाज को भी इस मुद्दे पर जागरूक करने की जरूरत है।
आप Max Maharashtra Hindi चैनल पर जाकर यह पूरा पॉडकास्ट देख सकते हैं, जहां डॉ. हरीश शेट्टी ने इस विषय पर विस्तार से बात की है। आइए, मिलकर इस जहर को अपने खाने से हटाने की दिशा में कदम उठाएं।
क्या आप अपने खाने को लेकर चिंतित हैं? अपनी राय हमारे साथ कमेंट में साझा करें!